नई दिल्ली/आर्ची तिवारी। हम अपने रोज के कार्यों में इतने व्यस्त हो जाते हैं कि अपने शरीर के लिए समय ही नहीं निकाल पाते। इन्हीं वजहों से आज हर व्यक्ति किसी न किसी रोग से पीड़ित है। हमको अपने व्यस्त जीवन से कुछ घंटे अपने शरीर के लिए जरूर निकालना चाहिए। ऐसे ही कुछ 5 सामान्य प्राणायाम हैं जिसको हर व्यक्ति (स्त्री/पुरुष) को नियमित रूप से करना चाहिए। जिस भी व्यक्ति को कोई भी रोग हो ,इन प्राणायाम को करने से शरीर के सभी रोगों का नाश हो जाता है।
रोगमुक्त होने के लिए 5 प्राणायाम
पहला – “अनुलोम-विलोम” यह एक ऐसा प्राणायाम है जिसको करने से दिमाग की मांस पेशियों और नसों में रक्त संचार तीव्र हो जाता है। फेफड़े मजबूत होते हैं। अंदर की सभी अशुध्द वायु बाहर निकल कर मन और शरीर दोनों को ही शुद्ध करती है। इस प्राणायाम से दिमाग भी तेज होता है और स्फूर्ति बनी रहती है। यह आसन हर अवस्था के लोग आसानी से कर सकते हैं और विद्यार्थियों के लिए तो बहुत ही लाभदायक है।
दूसरा – “कपालभाति” प्राणायाम पेट संबंधी रोगों को जड़ से खत्म करने में मदद करता है। यह आसन आमाशय, लीवर, किडनी, फेफड़े, स्त्रियों का गर्भाशय और पुरुषों के अंडकोष को मजबूत करता है। इस प्राणायाम को करने से कभी पेट संबंधी रोग नहीं हो सकते। कपालभाति किडनी, गालब्लैडर या पेट में स्टोन जैसी समस्या को बिना दवाइयों के जड़ से खत्म कर देता है। यह हर उम्र के लोगों को रोज करना चाहिए।
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तीसरा – “भस्त्रिका प्राणायाम” यह प्राणायाम बहुत ही आसान और फायदेमंद है। इस प्राणायाम को करने से अंतर्मन की शुद्धि होती है, हमारे फेफड़ों को बहुत आराम मिलता है। शरीर के अंदर दूषित वायु बाहर निकल जाती है और मन में एक नई स्फूर्ति महसूस होती है। जो लोग युवा हैं वे इस प्रक्रिया को जल्दी जल्दी भी कर सकते हैं और इसको तबतक करना है जब तक शरीर और नाक दोनों ही में ही गर्मी महसूस होने लगे।
चौथा – “भ्रामरी प्राणायाम” यह आसन ऐसे लोगों के लिए बहुत लाभदायक है जिनको हमेशा सर दर्द, माइग्रेन, और अनिद्रा की बीमारी होती है। ये आसन इन सभी बिमारियों को कुछ दिनों में ही बिल्कुल सही कर देता है। यह प्राणायाम डिप्रेशन में रहने वाले लोगों के लिए भी बहुत ही अच्छा है। इसमें ध्यान लगाने से एकाग्रता भी बढ़ती है और शरीर को हर प्रकार से स्वस्थ रखने में मदद करती है।
पांचवां – “वशिष्ठ प्राणायाम” यह कपालभाति से भी ज्यादा जल्दी प्रभाव दिखाता है। यह प्राणायाम मुख्यत: उन लोगों को करना चाहिए जिनको अनिद्रा, अपच, पेट उदर रोग और माइग्रेन की समस्या रहती है। यह इन सभी समस्याओं का जड़ से इलाज करता है और बिना किसी दवाईयों के इन सभी बिमारियों को उखाड़ फेंकता है। इस प्राणायाम को करने से त्वचा में भी तरोताजगी आती है और स्वस्थ रखती है।